अक्सर रात को दरवाजा खोल देती थी पत्नी, रहती थी खेत में, जब पति को पता चली हकीकत तो पैरों तले खिसक गई जमीन

शाजापुर जिले के मोहन बड़ोदिया थाना क्षेत्र के फर्दखेड़ी गांव से लगे जंगल में खेत पर बने मकान में रामकृष्ण नगर सारसी का रहने वाला मुकेश मालवीय अपनी पत्नी के साथ रहता था. पत्नी रोज रात को घर का दरवाजा खोल देती थी. पति को शक हुआ. उसने पत्नी को समझाया लेकिन वह नहीं मानी. फिर जो हुआ, उसकी कल्पना किसी ने नहीं की थी.

शाजापुर जिले में एक सनसनीखेज हत्याकांड का पर्दाफाश पुलिस ने मात्र 24 घंटे में कर दिया. प्रेम-प्रसंग के चलते मृतक की पत्नी ने ही अपने प्रेमी और उसके साथी के साथ मिलकर पति की हत्या की वारदात को अंजाम दिया था. मोहन बड़ोदिया थाना क्षेत्र के फर्दखेड़ी गांव से लगे जंगल में खेत पर बने मकान में रामकृष्ण नगर सारसी निवासी 38 वर्षीय मुकेश मालवीय की खून से सनी लाश मिली थी. वारदात की सूचना मिलते ही मोहन बड़ोदिया थाना प्रभारी पीके व्यास अपनी टीम के साथ मौके पर पहुंचे. देखा घर के अंदर पलंग कर खून से लथपथ मुकेश की लाश पड़ी है. गले पर गहरा निशान बना हुआ था. वारदात के दौरान पास वाले कमरे में मृतक की पत्नी और उसके परिजन भी सो रहे थे.

घटना के बाद पुलिस के सामने पत्नी ने झूठी कहानी बनाकर गुमराह करने की कोशिश भी की. पुलिस को मौके से कुछ ऐसे सबूत मिले कि उसको इस संगीत वारदात को सुलझाने की राह मिल गई. पुलिस के मुताबिक एक कटी हुई उंगली ने इस पूरे कत्ल का राज खोल दिया. दरअसल वारदात के दौरान प्रेमी के साथी सुनील की उंगली का एक हिस्सा चाकू के हमले के दौरान कट कर वही गिर गया. पुलिस को वारदात स्थल से कटी हुई उंगली भी मिली. जब पुलिस ने साइबर सेल की मदद से तलाश की तो आरोपी सुनील मिला जिसकी उंगली में चोट का निशान देखते ही पुलिस को कहानी समझते देर नहीं लगी.

जो कहानी निकलकर आई उसके मुताबिक राहुल का ममता के साथ प्रेम प्रसंग चल रहा था. दोनों मुकेश को रास्ते से हटाना चाहते थे, इसके लिए 11-12 फरवरी की रात को तीनों ने साजिश रची. ममता ने मकान का दरवाजा खोलकर राहुल और सुनिल को अंदर बुलाया. मुकेश की हत्या कर दी. एसपी यशपाल सिंह राजपूत ने बताया रामकृष्ण नगर सारसी निवासी 38 वर्षीय मुकेश मालवीय की हत्या उसकी पत्नी ममता, उसके प्रेमी राहुल मालवीय (27) और राहुल के दोस्त सुनिल मालवीय (21) ने मिलकर की.

वारदात को सुलझाने में कटी हुई उंगली, दरवाजे की कुंडी पर खून के निशान और मोबाइल लोकेशन अहम सबूत साबित हुआ. पुलिस ने 13 फरवरी को तीनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया. पूछताछ में आरोपियों ने अपना जुर्म कबूल कर लिया.

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