सीख; सीता जी ने जब अशोक वाटिका में पहली बार हनुमान जी को देखा तो उन्हें भरोसा नहीं हुआ था कि राम वानर सेना के साथ राक्षसों का मुकाबला कैसे करेंगे……..

सीख; सीता जी ने जब अशोक वाटिका में पहली बार हनुमान जी को देखा तो उन्हें भरोसा नहीं हुआ था कि राम वानर सेना के साथ राक्षसों का मुकाबला कैसे करेंगे……..

राम कथा में हनुमान जी का प्रवेश किष्किंधाकांड से होता है। इसके बाद शुरू होता है सुंदरकांड। सुंदरकांड में हनुमान जी और देवी सीता की भेंट होती है। जब सीता जी ने अशोक वाटिका में पहली बार हनुमान जी को देखा तो उन्हें भरोसा नहीं हुआ था कि राम वानर सेना के साथ राक्षसों का…

सीख; एक दिन महल से घर लौटते समय में व्यक्ति को एक यक्ष मिला, यक्ष ने उस व्यक्ति से कहा कि मैं तुम्हारी ईमानदारी और मेहनत से खुश हूं, इसलिए मैं तुम्हें सोने के सिक्कों से भरे सात घड़े दे रहा……..

सीख; एक दिन महल से घर लौटते समय में व्यक्ति को एक यक्ष मिला, यक्ष ने उस व्यक्ति से कहा कि मैं तुम्हारी ईमानदारी और मेहनत से खुश हूं, इसलिए मैं तुम्हें सोने के सिक्कों से भरे सात घड़े दे रहा……..

पुरानी कहावत है लालच बुरी बला है, इसकी वजह से हमारे जीवन की सुख-शांति बर्बाद हो जाती है, इसीलिए इससे बचना चाहिए। इस संबंध में एक लोक कथा प्रचलित है, जिसमें बताया गया है कि लालच हमें कैसे नुकसान पहुंचाता है… लोक कथा के अनुसार पुराने समय में किसी गांव में पति-पत्नी सुखी जीवन जी…

सीख; एक दिन राजा और संत टहलने निकले, दोनों महल से काफी दूर जंगल में पहुंच गए, वहां संत ने राजा से कहा कि राजन् आज हम दोनों एक समान स्थिति में हैं, हम राज महल न जाएं और आज से कुछ दिन…….

सीख; एक दिन राजा और संत टहलने निकले, दोनों महल से काफी दूर जंगल में पहुंच गए, वहां संत ने राजा से कहा कि राजन् आज हम दोनों एक समान स्थिति में हैं, हम राज महल न जाएं और आज से कुछ दिन…….

राजा ने एक संत को अपने साथ महल में रख लिया और सारी सुख-सुविधाओं की व्यवस्था कर दी, एक दिन राजा ने संत से कहा कि अब मैं और आप एक समान हैं राज महल पहुंचकर राजा ने संत के लिए खुद के समान ही सुख-सुविधाओं की व्यवस्था कर दी। अब संत भी राजा की…

सीख! सिद्ध नाथों को जब पेड़ के हरे-भरे की बात मालूम हुई तो वे नानक देव से मिलने पहुंचे, सिद्ध नाथों और गुरु नानक के बीच बातचीत शुरू हुई, इसे सिद्ध गोष्ठी के नाम से जाना जाता है, कुछ योगियों ने…….

सीख! सिद्ध नाथों को जब पेड़ के हरे-भरे की बात मालूम हुई तो वे नानक देव से मिलने पहुंचे, सिद्ध नाथों और गुरु नानक के बीच बातचीत शुरू हुई, इसे सिद्ध गोष्ठी के नाम से जाना जाता है, कुछ योगियों ने…….

गुरु नानक देव यात्राएं बहुत करते थे। यात्रा करते हुए एक बार वे गोरख मत्था नाम की जगह पर पहुंचे। गोरख मत्था में गुरु नानक पीपल के सूखे पेड़ नीचे बैठ गए। कुछ ही समय बाद वह पेड़ हरा-भार हो गया। उस समय गोरख मत्था में सिद्ध नाथों की बस्ती हुआ करती थी। सिद्ध नाथ…

सीख; एक दिन संत तुकाराम की भैंस पड़ोसी के खेत में चली गई और भैंस की वजह से पड़ोसी की फसल खराब हो गई, जब पड़ोसी को इस बारे में मालूम हुआ तो वह गुस्से में संत तुकाराम के घर गया और…….

सीख; एक दिन संत तुकाराम की भैंस पड़ोसी के खेत में चली गई और भैंस की वजह से पड़ोसी की फसल खराब हो गई, जब पड़ोसी को इस बारे में मालूम हुआ तो वह गुस्से में संत तुकाराम के घर गया और…….

प्रचलित कथा के अनुसार संत तुकाराम अपने घर में रोज प्रवचन देते थे। दूर-दूर से लोग उनके प्रवचन सुनने पहुंचते थे। सभी लोग संत तुकाराम का बहुत सम्मान करते थे, लेकिन उनका एक पड़ोसी जलन की भावना रखता था। जलन की भावना रखने वाला पड़ोसी भी रोज प्रवचन सुनने आता था। वह संत तुकाराम को…

सीख; एक दिन रमन जी से किसी ने पूछा, ‘आप हमेशा हनुमान जी और श्रीराम की भक्ति में लीन रहते हैं, उनकी शक्ति आपके भीतर से निकल रही है, ऐसा महसूस भी होता है, आपको ये सब कैसे मिला……

सीख; एक दिन रमन जी से किसी ने पूछा, ‘आप हमेशा हनुमान जी और श्रीराम की भक्ति में लीन रहते हैं, उनकी शक्ति आपके भीतर से निकल रही है, ऐसा महसूस भी होता है, आपको ये सब कैसे मिला……

दक्षिण भारत में तुंगभद्रा नदी के किनारे एक छोटा सा कस्बा श्रीरंग पुरम है। वहां भक्त वैंकट रमन बहुत प्रसिद्ध थे। दूर-दूर से लोग उनसे मिलने आते थे। उनके लिए कहा जाता था कि हनुमान जी ने साक्षात दर्शन दिए थे। लोग जब उनके पास बैठते थे तो लोगों को लगता था कि रमन जी…

सीख; भगत सिंह ने बटुकेश्वर दत्त को पत्र लिखा था कि भले ही हम इस संसार से चले जाएं, लेकिन जीवित रहकर भी देश के लिए संघर्ष किया जा सकता है जो तुम्हें करना है, बाद में देश आजाद हो गया……..

सीख; भगत सिंह ने बटुकेश्वर दत्त को पत्र लिखा था कि भले ही हम इस संसार से चले जाएं, लेकिन जीवित रहकर भी देश के लिए संघर्ष किया जा सकता है जो तुम्हें करना है, बाद में देश आजाद हो गया……..

स्वतंत्रता संग्राम सेनानी बटुकेश्वर दत्त बीमार हो गए थे। एक दिन कुछ लोग उनसे मिलने आए तो उन्होंने कहा, ‘जब भगत सिंह, सुखदेव और राजगुरु को फांसी हुई तो मैं भी उनके साथ था, लेकिन मुझे कालेपानी की सजा दी गई। उस समय मैं बहुत दुखी था कि मुझे फांसी क्यों नहीं दी गई। मेरे…

सीख; हाथी ने कहा, ‘शेर मुझ पर आक्रमण कर देता है, वह सबसे अधिक ताकतवर है, जंगल का राजा है, इसके बाद हिरण शेर के पास पहुंच गया, डरते-डरते हिरण ने शेर से कहा, ‘क्या मैं आपके जैसा ताकतवर बन जाऊं…….

सीख; हाथी ने कहा, ‘शेर मुझ पर आक्रमण कर देता है, वह सबसे अधिक ताकतवर है, जंगल का राजा है, इसके बाद हिरण शेर के पास पहुंच गया, डरते-डरते हिरण ने शेर से कहा, ‘क्या मैं आपके जैसा ताकतवर बन जाऊं…….

पंचतंत्र में मनुष्य और पशु-पक्षियों से संबंधित कई कहानियां बताई गई हैं। इन कहानियों में पशु-पक्षियों के माध्यम से बड़ी-बड़ी शिक्षाएं भी दी गई हैं। ऐसे ही एक हिरण को अपनी कमजोरियों पर बड़ा दुख हो रहा था। हिरण ने तप करके भगवान को प्रसन्न किया। भगवान हिरण के सामने प्रकट हुए और बोले, ‘तुम…

सीख; काल ने राजा से कहा, ‘मैं तुम्हें सात बार अलग-अलग ढंग से सूचना दूंगा, तुम राजा हो, बहुत व्यस्त रहते हो तो इन संकतों को ध्यान रखना और आठवीं बार मैं तुम्हें लेने आ जाऊंगा…….

सीख; काल ने राजा से कहा, ‘मैं तुम्हें सात बार अलग-अलग ढंग से सूचना दूंगा, तुम राजा हो, बहुत व्यस्त रहते हो तो इन संकतों को ध्यान रखना और आठवीं बार मैं तुम्हें लेने आ जाऊंगा…….

उपनिषदों में कई ऐसी कथाएं हैं, जिनमें राजाओं ने अपनी तपस्या से काल पर विजय पाने की कोशिश की है, लेकिन बचा कोई नहीं। ऐसे ही एक राजा ने भी काल को जीतने का प्रयास किया और उसने काल को अपना मित्र बना लिया। राजा और काल की दोस्ती हो गई। राजा ने काल से…

सीख; पांडु की छोटी रानी का नाम था माद्री, कुंती की संतान होने से माद्री दुखी हो गई, उसने अपने पति से कहा, ‘कुंती के तीन पुत्र हो गए, गांधारी के सौ पुत्र हैं, मेरा मन बहुत दुखी है, मैं भी संतान पाना चाहती हूं, लेकिन……

सीख; पांडु की छोटी रानी का नाम था माद्री, कुंती की संतान होने से माद्री दुखी हो गई, उसने अपने पति से कहा, ‘कुंती के तीन पुत्र हो गए, गांधारी के सौ पुत्र हैं, मेरा मन बहुत दुखी है, मैं भी संतान पाना चाहती हूं, लेकिन……

महाभारत में कुंती को वरदान में एक खास मंत्र मिला था। इस मंत्र के जप से कुंती जिस देवता का आव्हान करती थी, वह देवता पुत्र बनकर प्रकट हो जाता था। राजा पांडु संतान पैदा करने के लिए योग्य नहीं थे। एक दिन पांडु ने कुंती से कहा, ‘तुम मंत्र जप से देवता का आव्हान…